शिक्षण संस्थानों में सुधार हेतु समर्पण भाव से करें काम : राज्यपाल

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डॉ अजय ओझा।

विश्वविद्यालयों में रिक्त पदों को अतिशीघ्र भरने का राज्यपाल ने दिया आदेश।

रांची, 27 सितंबर । राज्यपाल-सह-झारखंड राज्य के विश्वविद्यालयों के कुलाधिपति रमेश बैस ने विश्वविद्यालय में रिक्त पदों पर नियुक्ति करने तथा रोस्टर क्लीयरेंस की दिशा में तीव्र गति से कार्य करने का निदेश दिया है। उन्होंने कहा कि राज्यपाल का पदभार ग्रहण करने के बाद से ही वे उच्च शिक्षा के विकास के लिए पूर्णतः प्रयासरत हैं। उन्होंने शिक्षण संस्थानों की स्थिति में सुधार लाने हेतु सभी को समर्पित भाव से कार्य करने हेतु कहा। उन्होंने उच्च शिक्षा के विकास के लिए कार्यप्रणाली में गति लाने की आवश्यकता पर बल देते हुए कहा कि कार्य में शिथिलता शिक्षा जगत एवं राज्य के विकास में बाधक है। राज्यपाल महोदय आज राज भवन में विश्वविद्यालयों के विभिन्न समस्याओं के निदान हेतु किये जा रहे प्रयासों की समीक्षा कर रहे थे। बैठक में झारखंड लोक सेवा आयोग की अध्यक्ष डॉ० मेरी नीलिमा केरकेट्टा, राज्यपाल के प्रधान सचिव डॉ० नितिन कुलकर्णी, सचिव, उच्च एवं तकनीकी शिक्षा विभाग राहुल कुमार पुरवार, निदेशक, उच्च एवं तकनीकी शिक्षा सूरज कुमार समेत विभाग के अन्य अधिकारीगण उपस्थित थे।
राज्यपाल महोदय ने कहा कि झारखंड प्रौद्यगिकी विश्वविद्यालय का स्टैच्यूट निर्माण अभी तक नहीं हुआ है। उन्होंने झारखंड प्रौद्यगिकी विश्वविद्यालय के लिए कुलपति की नियुक्ति के संदर्भ में अद्यतन स्थिति की जानकारी प्राप्त की। माननीय राज्यपाल ने राज्य के विभिन्न विश्वविद्यालयों में कुलसचिव, परीक्षा नियंत्रक जैसे विभिन्न महत्वपूर्ण पदों पर नियुक्ति हेतु 2018 का स्टैच्यूट बनाने व लागू करने की दिशा में तत्परता से कार्य करने का निदेश दिया। उन्होंने झारखंड खुला विश्वविद्यालय और जमशेदपुर महिला विश्वविद्यालय के आधारभूत संरचना के विकास के लिए राशि सुलभ कराने पर भी चर्चा की और उसे शीघ्र सुलभ कराने का निदेश दिया।

राज्यपाल महोदय ने उच्च शिक्षा विभाग को शिक्षक एवं शिक्षकेत्तर कर्मियों के वेतन निर्धारण के कार्यों में गति लाने का निदेश दिया। इसके लिए उन्होंने आवश्यकतानुसार कुछ कर्मियों को इस कार्य में लगाने की बात कही। बैठक में उन्होंने नीलाम्बर-पीताम्बर विश्वविद्यालय, मेदनीनगर को पुस्तकालय, प्रशासनिक भवन इत्यादि शीघ्र हस्तांतरित करने की दिशा में कार्य करने हेतु कहा। माननीय राज्यपाल ने झारखंड खुला विश्वविद्यालय को पृथक भवन सुलभ कराने की दिशा में कार्य के लिए कहा। उच्च एवं तकनीकी शिक्षा सचिव द्वारा अवगत कराया गया कि राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय के समीप लगभग 7 एकड़ भूमि देखा गया है। बैठक में यह भी कहा गया कि प्रत्येक विश्वविद्यालय शीघ्र ही बी०एड० पाठ्यक्रम का शुल्क निर्धारण करें। उक्त अवसर पर कहा गया कि हर विश्वविद्यालय में एक पदाधिकारी ऐसे हो, जिनके पास विश्वविद्यालय की संरचना संबंधी कार्यों की जानकारी हो।


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