किशोर दा के जन्मदिन पर विशेष

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डॉ अजय ओझा।

खंडवा वाले हम लौट आएंगे तुम यूंही बुलाते रहना – कभी अलविदा ना कहना।

दूध जलेबी खाएंगे और खंडवा में बस जाएंगे : किशोर दा।

किशोर दा के कला के मंदिर को मध्यप्रदेश संग्रहालय बनाकर बचायें : मनीष गुप्ता  ।

खंडवा, 3 अगस्त हरफनमौला कलाकार किशोर कुमार का आज जन्मदिन है की। बॉलीवुड में किशोर कुमार को एक ऐसी शख्सियत के तौर पर याद किया जाता है जिन्होंने न सिर्फ पार्श्वगायन से बल्कि अभिनय, फिल्म निर्माण, निर्देशन और संगीत निर्देशन से भी लोगों को दीवाना बनाया।

किसी एक इंसान में इतनी खूबियां कम ही देखी जाती हैं जितनी किशोर में थीं. किशोर एक उम्दा सिंगर, एक्टर, राइटर, फिल्म प्रोड्यूसर भी थे।

मध्यप्रदेश के खंडवा में 04 अगस्त 1929 को मध्यवर्गीय बंगाली परिवार में अधिवक्ता कुंजी लाल गांगुली के घर जब सबसे छोटे बालक ने जन्म लिया तो कौन जानता था कि आगे चलकर यह बालक अपने देश और परिवार का नाम रौशन करेगा। भाई-बहनों में सबसे छोटे नटखट आभास कुमार गांगुली उर्फ किशोर कुमार का रुझान बचपन से ही पिता के पेशे वकालत की तरफ न होकर संगीत की ओर था। महान अभिनेता एवं गायक के. एल. सहगल के गानो से प्रभावित किशोर कुमार उनकी ही तरह के गायक बनना चाहते थे। सहगल से मिलने की चाह लिये किशोर कुमार 18 वर्ष की उम्र मे मुंबई पहुंचे, लेकिन उनकी इच्छा पूरी नहीं हो पायी। उस समय तक उनके बड़े भाई अशोक कुमार बतौर अभिनेता अपनी पहचान बना चुके थे। अशोक कुमार चाहते थे कि किशोर नायक के रूप में अपनी पहचान बनाए लेकिन खुद किशोर कुमार को अदाकारी की बजाय पार्श्व गायक बनने की चाह थी, जबकि उन्होंने संगीत की प्रारंभिक शिक्षा कभी किसी से नही ली थी, संगीत की दुनिया में किशोर दा ने अपना एक मुकाम हासिल किया था जिसे आज के अच्छे-अच्छे गायक भी उस तक नहीं पहुंच पाए किशोर दा इतने महान गायक थे उसके बावजूद उन्होंने अपनी मातृभूमि खंडवा के प्रति हमेशा स्नेह रखा जब भी मौका मिलता था तो वह खंडवा आते थे और कहते थे दूध जलेबी खाएंगे और खंडवा में बस जाएंगे लेकिन उनकी यह इच्छा पूरी नहीं हो पाई, मुंबई में उनके निधन के बाद उनका पार्थिव शरीर खंडवा लाया गया और उनका अंतिम संस्कार खंडवा में ही किया गया

चार शादी करी थी किशोर दा ने

इंसानकिशोर कुमार कितने मनमौजी इंसान थे इसी से पता चल जाता है कि पहली शादी 1951 में की और चौथी शादी 1980 में की. पहली वाइफ रुमा गुहा ठाकुरता थीं. दूसरी शादी मधुबाला से हुई और तीसरी शादी योगिता बाली से हुई. किशोर ने चौथी शादी लीना चंदावरकर से की थी.
किशोर कुमार के दो बेटे हैं. अमित कुमार, किशोर और रुमा गुहा के बेटे हैं. ये भी फेमस सिंगर हैं. किशोर की चौथी वाइफ लीना से एक बेटे सुमित कुमार हैं. किशोर कुमार का निधन 13 अक्टूबर 1987 को हुआ था.

किशोर कुमार की समाधि पर लगता है दूध जलेबी का भोग! मुंबई छोड़कर खंडवा में बसना चाहते थे

किशोर दा की जन्मदिन हो या उनकी पुण्यतिथि दोनों ही पर्व पर खंडवा में उनकी समाधि पर उनके प्रशंसकों द्वारा उन्हें दूध जलेबी का भोग लगाया जाता है और गीत गुनगुनाए जाते हैं
किशोर दा को खंडवा से बड़ा लगाव था और वह जब भी खंडवा आते थे तो अपने दोस्तों के साथ शहर की गलियों, चौपालों पर गप्पे लड़ाना नहीं भूलते थे. किशोर कुमार को दूध जलेबी खाने का बड़ा शौक था. खंडवा में उनकी ज्यादातर महफिलें जलेबी की दुकान पर ही सजती थीं. यही वजह है कि आज भी उनके समर्थक जब उनकी समाधि पर जाते हैं तो वहां दूध जलेबी का भोग लगाने के बाद ही श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं. किशोर कुमार अक्सर फिल्मों में खंडवा का जिक्र करते थे. कई बार तो उन्होंने फिल्मों में अपने घर का पता भी बताया है. किशोर कुमार ने खुद को खंडवा में ही तराशा और मुंबई जाकर दुनियाभर में नाम कमाया. अपने करियर में किशोर दा ने 16 हजार फ़िल्मी गाने गाए और उन्हें 8 बार फ़िल्म फेयर अवार्ड से सम्मानित किया गया. किशोर कुमार मुम्बई गए तो थे हीरो बनाने लेकिन वह हीरो के साथ ही महान गायक बन गए. जिद्दी फ़िल्म से उन्होंने गाना गाने का सफ़र शुरू किया था.

उड़ान किशोर फ्रेंड्स क्लब की मांग पुश्तैनी मकान को हेरिटेज घोषित कर राष्ट्रीय संग्रहालय बनाया जाए 

खंडवा बॉलीवुड के महान गायक पार्श्वगायक, अभिनेता, संगीतकार, गीतकार, निर्देशक, निर्माता और पटकथा लेखक किशोर कुमार के पैतृक मकान मध्य प्रदेश सरकार हेरिटेज घोषित करें इसके लिए पूरे देश में किशोर फ्रेंड्स क्लब द्वारा मुहिम चलाई जा रही है इसी मुहिम को आगे बढ़ाते हुए खंडवा में उड़ान किशोर फ्रेंड्स क्लब द्वारा आगामी दिनों में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के नगर आगमन पर ज्ञापन देगा जिसमें मांग की गई है कि किशोर दा के पैतृक घर को हेरिटेज घोषित किया जाए साथ ही मध्य प्रदेश शासन इस घर को कला संगीत का संग्रहालय बनाएं जाए उड़ान किशोर फैंस क्लब जिसके अध्यक्ष मनीष गुप्ता संस्थापक गणेश भावसार राजेंद्र पाराशर सुनील जैन हेमंत जोशी कन्हैया मंडलोई शेख शकील निषाद सिद्दीकी मयंक शर्मा संजय चौबे प्रेमांशु जैन,वही किशोर कुमार फ्रेंड्स क्लब में युवा मंडल में अखिलेश ठाकुर मयंक पाराशर नितिन झवर  हेमंत जोशी महेश पटेल गोपाल गीते नदीम रॉयल पीयूष जाट को लिया गया है उड़ान किशोर फ्रेंड्स क्लब का गठन करने का उद्देश्य हरफनमौला कलाकार किशोर दा के पुश्तैनी घर जिसे 100 साल से अधिक हो चुका है उसे हेरिटेज घोषित किया जाए वही किशोर दा के परिजनों से चर्चा कर इस घर को जल्द ही राष्ट्रीय संग्रहालय बनाया जाए और मध्यप्रदेश शासन इस गौरी कुंज को जो कला और गीत संगीत का सरस्वती का मंदिर है इसे बचाने के लिए उड़ान किशोर फ्रेंड्स क्लब प्रयास करता रहेगा  4 अगस्त किशोर दा के जन्मदिवस को मध्य प्रदेश शासन गौरव दिवस के रूप में मना रही है लेकिन कहां किशोर कुमार का जन्म हुआ वह घर जर्जर होता जा रहा है मध्यप्रदेश शासन सबसे पहले इस घर को हेरिटेज घोषित कर इसका रिपेयरिंग कराया जाए और राष्ट्रीय संग्रहालय  बनाया जाए किशोर दा के घर को शासन को कमेटी बनाकर परिजनों से चर्चा करनी चाहिए ताकि जो जर्जर हो चुका है भवन उसे बचाया जा सकेउनके पैतृक निवास को किशोर प्रेमियों के लिए संजोए रखने की मांग की मध्यप्रदेश शासन से करते हैं।

किशोर कुमार वो फनकार थे जो कि हर विधा में माहिर थे किशोर दा को अपनी जन्मभूमि खंडवा बड़ा ही लगाव था वह जब भी किसी स्टेज शौ प्रोग्राम पर जाते थे किशोर कुमार ने अब तक सर्वश्रेष्ठ पार्श्वगायक के लिए 8 फिल्मफेयर पुरस्कार जीते थे, जो की एक रिकॉर्ड है।
 किशोर कुमार खंडवावाला कह कर अपने आप को प्रस्तुत करते थे । जन्मभूमि के प्रति इस अनूठे प्रेम के चलते ही वो कहते थे कि दूध जलेबी खाएंगे खंडवा में बस जाएंगे उनके इसी जन्म भूमि खंडवा के लगाव से उन्होंने कहा था मेरी मृत्यु कहीं भी हो मेरा अंतिम संस्कार खंडवा में ही किया जाए उनकी इसी इच्छा को लेकर उनकी मृत्यु मुंबई में हुई लेकिन उनका पार्थिव शरीर खंडवा लाया गया और उनके उसी कमरे में रखा गया जहां कि उनका जन्म हुआ था उनके अंतिम संस्कार में देश के माने हुए सभी कलाकार संगीतकार खंडवा पहुंचे थे। खंडवा के इंदौर रोड पर प्रदेश सरकार ने 2 करोड़ रुपए खर्च कर किशोर दा का स्मारक और समाधि बनाई है जहां की देशभर से उनके प्रशंसक दीवाने उन्हें श्रद्धांजलि देने पहुंचते हैं लेकिन किशोर दा के घर पर पहुंचने पर किशोर प्रेमियों को निराशा होती है हमारी मध्यप्रदेश शासन से मांग है  उनके घर को हैरिटेज भवन घोषित किए जाने को लेकर सरकार से पुरजोर तरीके से मांग कर रहे हैं इससे पूर्व भी किशोर प्रेमी कोलकाता व दिल्ली में रेली कर राष्ट्रपति प्रधानमंत्री से किशोर दा को भारत रत्न दिए जाने की मांग कर चुके हैं।कुमार के मकान को राष्ट्रीय संग्राहलय बनाया जाना चाहिए  । वहीं मध्य प्रदेश सरकार,उनके परिजनों से बात करें । किशोर दा के कला के मंदिर को मध्यप्रदेश संग्रहालय बनाकर इसे  बचा सकता है।


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