लाकडाउन की स्थिति मे भारतीय अर्थव्यवस्था
मैं रूप से आश्वस्त हूं, कि लाकडाउन की स्थिति से उत्पन्न मंदी की स्थिति से उबरने में भारतीय अर्थव्यवस्था अन्य देशों की अर्थव्यवस्थाओं की तुलना में तीव्रगति से सुधार करेगी। क्योंकि भारतीयों की औसत उपभोग दर अन्य देशों की तुलना में सदैव अधिक रहता है। जिस से उत्साहित होकर व्यापारी वर्ग उत्पादन करने को प्रेरित रहेंगे। ऐसी स्थिति में उत्पादन के जो भी साधन श्रम पूंजी भूमि आदि जो बेरोजगार हैं, उनको रोजगार के अवसर प्राप्त होंगे, सरकार को निरंतर घटती हुई मांग को बढ़ावा देने हेतु निवेशकों के प्रति लचीली व उत्साहवर्धक नीति अपनाते हुए निवेश पर जोर देना चाहिए एवं सरकार को स्वयं भी सरकारी क्षेत्रों में निर्माण क्षेत्रों में मत्स्य कृषि आदि परंपरागत क्षेत्रों में भी एक बड़ा निवेश करना चाहिए। ताकि लोगों की क्रय शक्ति को बढ़ाकर अर्थव्यवस्था को स्वस्फुर्ती अवस्था में लाया जा सके।
लेखक आर्थिक सलाहकार और जनपद न्यायालय में अधिवक्ता हैं।