समावेशी और जन आकांक्षाओं को साकार करने वाला है केंद्रीय बजट : जितेंद्र सिंह

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डॉ अजय ओझा।

रांची, 5 फरवरी। विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय के राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डॉ0 जितेंद्र सिंह ने केंद्रीय बजट को समावेशी और बहुमुखी समाज के सपनों को साकार करने वाला बजट बताया है। उन्होंने कहा कि एक तरफ यह बजट समाज की हर वर्ग की आकांक्षा को पूरा करने वाला है वहीं दूसरी ओर अमृत काल में अगले 25 साल में भारत ऐसी स्थिति में हो कि पूरे विश्व की अगुवाई करे, इसका खाका भी इस बजट में खींचा गया है। बजट में महिलाएं, छात्र, किसान, स्टार्टअप हो, मध्यमवर्गीय से लेकर बड़े उद्योग जगत यानी सभी का ख्याल इसमें रखा गया है। केंद्रीय मंत्री पार्टी के प्रदेश कार्यालय में प्रेस वार्ता को संबोधित कर रहे थे।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में जो बजट प्रस्तुत हुआ है। पिछले 8-9 वर्षों में जिस प्रकार से प्रधानमंत्री ने देश के लिए एक सुदृढ़ बुनियाद रखी है, जिस प्रकार की अर्थव्यवस्था स्थापित की थी, उसने प्रमाणित कर दिया कि वह स्थिर भी है, टिकाऊ भी है और लचीला भी है। साथ ही यह हर प्रकार की चुनौतियों से सामना करने की क्षमता भी रखती है। इसका सबसे बड़ा प्रमाण यह है कि जब बिना किसी चेतावनी के पूरे विश्व ने कोरोना का सामना किया, उस समय सारा विश्व शंका के साथ भारत की तरफ देखने लगा कि इतना बड़ा देश कैसे इस महामारी से पार पाएगा। इस महामारी को भारत कहीं नहीं संभाल पाया इसका खामियाजा पूरे विश्व को भुगतना पड़ेगा। परंतु हमने देखा कि आपदा के बाद छोटे छोटे विकसित देश तिलमिला गए लेकिन भारत का लोहा पूरे विश्व ने माना। आदरणीय नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व को पूरी दुनिया ने सराहा। इसे विदेशी मापदंडों ने भी स्वीकृति दी। ग्लोबल इनोवेशन इंडेक्स, जिसमें हम 40 स्थान ऊपर आ गए, स्टार्टअप इंडेक्स में तीसरे दर्जे पर आ गए। जब कोविड के बाद विश्व की अर्थव्यवस्था डगमगा रही थी तब हमारे देश की अर्थव्यवस्था की रेंकिंग पांचवें नंबर पर आ गई।सबसे बड़ी बात कि हम उस ब्रिटेन से आगे बढ़ गए जिन्होंने हमारे देश पर तो 200 साल से अधिक समय तक राज किया था। यह उपलब्धि प्रमाणित करता है कि किस प्रकार मोदी जी ने दूरदर्शी के साथ देश की अर्थव्यवस्था दी है। विश्व भर के देश ने भारत को ब्राइट स्पॉट की संज्ञा दी। जब सभी जगह की अर्थव्यवस्था धूमिल दिख रही है उस स्थिति में कहीं से अगर एक रोशनी दिख रही थी तो वह देश भारत था। यह कोई मामूली उपलब्धि नहीं है।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि इस बजट में अगले 25 वर्षों तक के विकास का भी खाका तैयार किया गया है, तभी इसे अमृत काल कहा गया है। आने वाले 25 वर्ष में भारत शिखर पर खड़ा होगा, उसके लिए क्या भौगोलिक मापदंड होंगे उसका भी संकेत इस बजट में समाहित है। बजट में ग्रीन ग्रोथ, क्लीन एनर्जी का उल्लेख है। स्पष्ट है कि ग्लोबल मापदंड में भी हमारा देश पीछे नहीं रहेगा। इस बजट की नींव नरेंद्र मोदी ने 5 वर्ष पूर्व में ही रख दी थी। लगभग 11 करोड से अधिक घरों में शौचालय बनाए गए, 10 करोड़ गैस सिलेंडर वितरित किए गए, 2 करोड़ से अधिक पीएम आवास बनाए गए। प्रधानमंत्री ने बिना भेदभाव किए ही सबका साथ सबका विकास के मूल मंत्र को स्थापित करने का काम किया।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि बजट में तय की गई सात प्राथमिकताओं में ही बजट की पूरी आत्मा और सार निहित है। अंतिम कगार पर खड़े व्यक्ति तक पहुंचना और उनका कल्याण, हर वर्ग की आकांक्षाओं को पूरा करना ही मोदी सरकार की प्राथमिकता है। 38000 से अधिक एकलव्य विद्यालय में अध्यापकों की नियुक्ति होनी है, इसका लाभ झारखंड को भी मिलेगा। उसी प्रकार जनजाति समुदाय में भी जो अधिक कमजोरी की स्थिति में है , इसमें झारखंड भी हैं उनके लिए ₹15000 करोड़ उनकी बुनियादी सुविधाओं के लिए निर्धारित किए गए हैं। स्टार्टअप के 1 साल टैक्स फ्री को बढ़ाकर 2 साल कर दिया गया है। 7 लाख तक आय वालों को कोई टैक्स नहीं लगना बड़ी राहत है। राजकोषीय घाटे का लक्ष्य 2025 तक 4.5% किया गया है जो कि पिछली सरकारों में 2 डिजिट में हुआ करता था।

उन्होंने कहा कि भारत को शिखर पर पहुंचाने के लिए कई नए आयाम को प्राथमिकता दी गई है। जिसमें शीर्ष शिक्षण संस्थानों में तीन कृत्रिम मेधा केंद्र, नर्सिंग कॉलेजेस, ज्वाइंट रिसर्च वेंचर सहित कई चीजे हैं। मेडिकल रिसर्च में भी बिजनेस की तरह शोध में भी पीपीपी मॉडल लाना बड़ी बात है। एक प्रकार से कहा जा सकता है कि यह बजट क्रांतिकारी के साथ भारत को आगे ले जाने वाला बजट है।

इस अवसर पर प्रदेश मंत्री सुबोध सिंह गुड्डू, प्रवक्ता प्रदीप सिन्हा, अविनेश कुमार सिंह, सह मीडिया प्रभारी योगेंद्र प्रताप सिंह भी मौजूद थे।


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