मेहंदी रच कर श्री लाल बहादुर शास्त्री डिग्री कॉलेज, गोंडा के छात्राओं ने कोरोना के खिलाफ जंग का समाज को सन्देश दिया
मेहंदी रंग लाती है पिस जाने के बाद। जिंदगी मुस्कुराती है खुद को बचाने के बाद। इस संकट की घड़ी में समाज के प्रत्येक वर्ग के व्यक्तियों की सबसे बड़ी जिम्मेदारी है कि वह करोना महामारी से स्वयं को, परिवार को, और अपनी समाज को बचाए।
उक्त बातें राष्ट्रीय सेवा योजना की कार्यक्रम अधिकारी डॉ रेखा शर्मा ने कही। उन्होंने कहा “लंबे लॉक डाउन उनके कारण जीवन थम सा गया है”।
लोग अवसाद के शिकार हो रहे हैं इस स्थिति से उबरने के लिए राष्ट्रीय सेवा योजना से जुड़ी स्वयंसेवी छात्राओं के लिए जनपद के नोडल अधिकारी डॉ जीतेंद्र सिंह के निर्देशन में जनपद के सभी कार्यक्रम अधिकारी लॉक डाउन के नियमों का पालन करते हुए करोना महामारी से बचाओ विषय पर अपने अपने महाविद्यालयों के स्वयंसेवी छात्राओं के लिए मेहंदी प्रतियोगिता आयोजित कर रहे हैं।
वरिष्ठ कार्यक्रम अधिकारी डॉ शिव शरण शुक्ला ने बताया मेहंदी श्रृंगार का मुख्य साधन होने के साथ-साथ औषधीय गुण भी रखती है। गर्मी में शरीर को शीतलता प्रदान करती है। डॉ लो हंस कल्याणी ने कहा करोना की अभी तक कोई दवा नहीं बन सकी है।
ऐसी स्थिति में स्वयं को स्वस्थ रखने के लिए अपने पड़ोस एवं परिचितों को संक्रमण से बचाने के लिए उन्हें निरंतर जागरूक करने की आवश्यकता है और मेहंदी प्रतियोगिता के द्वारा हमारी छात्राओं ने समाज को करोना संक्रमण से बचने का संदेश दिया है। कार्यक्रम अधिकारी डॉ अवधेश वर्मा ने कहा हम सभी का स्वस्थ रहना हमारी रोग से लड़ने की क्षमता और हमारे आसपास रह रहे लोगों की जीवन शैली एवं चिंतन पर आधारित है सभी को समझदारी से काम करना होगा। अन्यथा एक व्यक्ति के गलती की सजा को भुगतने के लिए पूरे समाज को तैयार रहना पड़ेगा। इस तरह एक नए जीवन शैली की ओर हम बढ़ रहे हैं और अब एक नए भारत का निर्माण होगा, जिसका स्वरूप वर्तमान स्वरूप से भिन्न होगा। मेहंदी प्रतियोगिता में छात्राओं ने बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया जिसमें श्रेया सिंह , नूपुर तिवारी ,वैष्णवी ओझा, श्रद्धा सिंह, सुष्मिता मिश्रा, पल्लवी तिवारी और आशा तिवारी की मेहंदी अव्वल रही।
ब्यूरो प्रमुख : अमित गर्ग