विपरीत परिस्थितियों में सुशासन की मिसाल,शिवराज सरकार का एक साल

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आलेख✍️ अनूप पौराणिक ।

मध्यप्रदेश की भाजपा सरकार ने 23 मार्च 2021 को अपने एक वर्ष का कार्यकाल पूरा किया। श्री शिवराज सिंह चौहान का मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में ये चौथा कार्यकाल है। पिछले साल इसी दिन कोरोना की विकट परिस्थितियों में श्री शिवराज सिंह चौहान ने मुख्यमंत्री के रूप में पुन: बागडोर संभाली थी। हालांकि उस समय स्थितियां बहुत विकट थी। इसके बावजूद मामा ने अपनी कार्यशैली और कर्मठता से संपूर्ण प्रदेश कि स्थिति को बखूबी संभाला और विपरीत परिस्थितयों में सुशासन की एक बेहतरीन मिसाल पेश की। आइए नज़र डालते हैं बीते एक साल में उनके द्वारा लिए गए कुछ जनहितैषी निर्णयों पर जो इस सरकार के काम और इसकी सफलता की कहानी खुद बयां करते हैं ..

अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हुई सराहना – पूरा प्रदेश कोरोना महामारी की जकड़ में था और दो दिन पहले तक प्रदेश में मौजूद कमलनाथ सरकार की भीषण लापरवाही के चलते इस महामारी से बचने के समुचित उपाय नहीं किए गए थे। प्रदेश में मात्र तीन टेस्टिंग लैब थीं, जिनकी क्षमता 300 प्रतिदिन थी। भाजपा सरकार ने लैब की संख्या 32 कर दी और टेस्टिंग की क्षमता को 33 हजार के पार पहुंचा दिया। इसी प्रकार कोरोना के जनरल बेड, ऑक्सीजन बेड और आईसीयू को लेकर अफरा-तफरी का वातावरण था,लेकिन शिवराज सरकार ने युद्ध स्तर पर प्रयास करके उन्हें सरप्लस किया गया है।आज हमारे पास 3.50 लाख पीपीई किट और 3.74 हजार से अधिक टेस्टिंग किट उपलब्ध हैं। कोरोना संकट काल में सरकार और संगठन ने जिस सक्रियता और संवेदनशीलता के साथ समाज की सेवा और उपचार का अभियान हाथ में लिया, उसकी अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सराहना हुई है।

बाहर से आए मजदूरों का रखा पूरा ध्यान- जिन लोगों ने कोरोना के विरुद्ध लड़ाई लड़ी उन्हें कोरोना योद्धा के रूप में सम्मानित करते हुये 26 दिवंगत योद्धाओं के परिवार को 13 करोड़ की राशि प्रदान की गई है। भाजपा सरकार और संगठन ने प्रवासी मजदूरों की स्क्रिनिंग, भोजन, रोजगार, राशन, दवाई और परिवहन आदि के उल्लेखनीय इंतजाम किये थे। सरकार ने प्रवासी मजदूरों को 15 करोड़ 50 लाख रुपये की राशि और निर्माण श्रमिकों को 177 करोड़ की राशि वितरित की। मध्यप्रदेश में बाहर से रोजगार छोड़कर आए मजदूरों के लिए श्रमसिद्धि अभियान चलाया।

अपराधों पर लगाई लगाम- शिवराज सरकार ने एक साल के भीतर सभी प्रकार के माफियाओं के खिलाफ अभियान चलाया है और अपराध पर लगाम लगाई है। इसके तहत 1875 भू माफियाओं के कब्जे से 3 हजार हैक्टेयर से अधिक जमीन मुक्त कराई गई है, जिसकी कीमत लगभग 10 हजार करोड़ है। खनन माफिया के विरुद्ध 5581 मामले दर्ज हुए हैं और 31 करोड़ की रेत सहित 845 वाहन जब्त किए गए, 30 व्यक्तियों पर रासुका लगाई गई। सालभर के भीतर 10418 बेटियों को अपराधियों के चंगुल से छुड़ाकर घर पहुंचाया गया। एक साल के भीतर महिला अपराधों में 4.35 प्रतिशत की कमी आई है। राशन माफिया के विरुद्ध कठोर कार्रवाई करते हुये 562 माफिया को गिरफ्तार किया गया, इनमें से 8 के खिलाफ रासुका की कार्रवाई की गई।

विकास पर है अधिक ध्यान – जहां कांग्रेस सरकार का ध्यान पॉलिटिक्स पर अधिक था वहीं इसके ठीक विपरीत शिवराज की अपनी कार्यशैली है और उनका पूरा ध्यान प्रदेश के समुचित विकास पर है। भाजपा सरकार ने नगरों और गांव के समुचित विकास की योजनाएं बनाई हैं। इंदौर ने लगातार चौथी बार देश में सबसे स्वच्छ शहर का स्थान प्राप्त किया है। एक वर्ष के भीतर प्रदेश के 234 शहरों ने ओडीएफ प्रमाण-पत्र प्राप्त किया है। प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) के क्रियान्वयन में मध्यप्रदेश को देश में द्वितीय स्थान प्राप्त हुआ है। इस योजना में 7.99 लाख आवास उपलब्ध कराए गए हैं। नगरोदय के साथ-साथ ग्रामोदय पर भी सरकार का जोर है। प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) में अब तक लगभग 18 लाख 30 हितग्राहियों के आवास पूर्ण किए गए हैं। वर्ष 2020-21 में 3 लाख आवास पूर्ण कराए गए हैं।

महिलाओं के लिए उठाए खास कदम – मामा की सरकार में बेटियों के लिए कई महत्वपूर्ण फैसले लिए जाते रहे हैं और इस एक साल में भी लिए गए हैं। सरकार ने जन्म से लेकर अंतिम सांस तक मां, बहन और बेटियों के कल्याण के लिए कई योजनाएं संचालित की हैं। लाडली लक्ष्मी योजना के माध्यम से अब तक 37 लाख से अधिक बच्चियों को लाभान्वित किया जा चुका है। प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना में लगभग 21 लाख हितग्राहियों को लाभान्वित किया गया है। इस योजना के क्रियान्वयन में मध्यप्रदेश पूरे देश में प्रथम राज्य बनकर उभरा है। महिलाओं के नाम पर रजिस्ट्री किए जाने पर स्टाम्प ड्यूटी में 2 प्रतिशत की छूट दी गई है। हर सरकारी कार्यक्रम की शुरुआत कन्या पूजन के माध्यम से की जाती है। मध्यप्रदेश उन चुनिंदा राज्यों में से एक है, जहां धर्म स्वातंत्र्य विधेयक लागू किया गया है। प्रदेश में किसी भी महिला को जबरन डराकर, बहला फुसलाकर, झूठ बोलकर, धोखा देकर न तो धर्म परिवर्तन किया जा सकता है और न ही उसके साथ विवाह किया जा सकता है। मध्यप्रदेश देश का पहला राज्य है, जहां हमारी सरकार ने मासूम बच्चियों के साथ बलात्कार करने वालों को फांसी देने का प्रावधान किया। मध्यप्रदेश की भाजपा सरकार ने महिलाओं को आगे बढ़ाने के नये-नये अवसर प्रदान किये हैं। महिला स्व सहायता समूहों के माध्यम से पोषण आहार और गणवेश बनाने जैसे कई कार्य उनके हाथों में सौंपे गए हैं। कुल मिलाकर यह कहा जा सकता है कि बीते एक साल में शिवराज सरकार ने अपने काम से जनता का भरोसा जीता है। मुद्दा चाहे विकास का हो, माफियाओं को खत्म करने का हो,महिलाओं की सुरक्षा का हो या उपचुनाव का, भाजपा की जीत इस ओर इशारा करती है कि जनता ने भाजपा सरकार की कार्यशैली को एक बार फिर हृदय की गहराइयों से स्वीकार किया है।

(लेखक स्वतंत्र पत्रकार है)


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