मनरेगा कार्यों की हुई सोशल जांच पाई गई कमियां।

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उर्मिला शर्मा।

बहरिया । ब्लाक बहरिया के भवानापुर ग्राम सभा में शासन द्वारा गठित सोशल ऑडिट टीम ने मनरेगा व प्रधानमंत्री आवास की जांच 30 सितंबर से 2 अक्टूबर तक की गई। जिसमें ऑडिट टीम ने 20 बिंदुओं के तहत जांच की। इस जांच में पात्र लाभार्थी प्रधानमंत्री आवास में पहली कमी पाई गई। कि आवास तो बने हैं। लेकिन पूर्ण रूप से नहीं। जबकि पैसा सभी के खाते में जा चुका है। इसी क्रम में पंचायत भवन भी पूर्ण रूप से नहीं बना है। जो बना भी है। उसमें मानक के अनुरूप सीमेंट और बालू का उपयोग नहीं किया गया। जिससे बनी हुई छत में अभी से दरारे पडना शुरू हो चुकी है। साथ ही जो बीमे पड़ी है। उसमें भी 14 जगह से दरारे आ चुकी है। प्लास्टर व अन्य कार्य अपूर्ण रहे। सार्वजनिक शौचालय भी मानक के अनुरूप नहीं बनाया गया है। तथा बस्ती से दूर बनाया गया है और उसका सेफ्टी टैंक भी बहुत छोटा है। जिससे सेफ्टी टैंक का पानी ओवरफ्लो होकर बाहर बह रहा है। ग्रामीणों द्वारा सोशल टीम से यह भी शिकायत की गई। कि मनरेगा कार्ड बनवाने में पैसा लिया गया है। जिसके परिपेक्ष में रोजगार सेविका द्वारा बताया गया। कि विकासखंड में जॉब कार्ड की उपलब्धता न होने के कारण बाहर से मंगवाने पर पैसा लगता है। गांव में 7 लोगों को काऊ आवास दिया गया। किंतु इनमें से तीन लोगों ने ही काऊ आवास बनवाया है। बाकी सब अपूर्ण मिला। काऊ आवास का पैसा लाभार्थी के अलावा मीरा देवी व महिमा के खाते में भेज दिया गया। जांच के दौरान यह भी पाया गया कि जितने लोगों ने मनरेगा में काम किए हैं। उन्हीं के खाते में पैसा गया है । इस सोशल ऑडिट की टीम के सदस्य डॉ उषा मौर्या, सुमन सिंह, प्यारेलाल आदि लोग रहे। इनके सहयोग में टी ए रामचंद्र यादव, रोजगार सेविका अर्चना देवी, ग्राम प्रधान प्रताप बहादुर पटेल के साथ-साथ ग्रामीण लोग उपस्थित रहे।


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