नौकरी-पेशा लोगों की प्रशिक्षण संबंधी जरूरतों के लिए उपयुक्त है डिस्टेंस लर्निंग : सहस्रबुद्धे

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नई दिल्ली, 19 नवम्बर (हि.स.)। भारतीय सांस्कृतिक संबंध परिषद के अध्यक्ष एवं राज्यसभा सांसद विनय सहस्रबुद्धे ने कहा कि डिस्टेंस लर्निंग का लचीलापन नौकरी-पेशा लोगों की प्रशिक्षण संबंधी जरूरतों के लिए उपयुक्त है। श्रमशक्ति के दृष्टिकोण से हमारे समाज में सॉफ्ट-स्किल और एप्लाइड-स्किल की जो कमी है उसे डिस्टेंस लर्निंग के जरिए पूरा किया जा सकता है और इसमें इग्नू महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। 

सहस्रबुद्धे ने मंगलवार को इंदिरा गांधी राष्ट्रीय मुक्त विश्वविद्यालय (इग्नू) के 34वें स्थापना दिवस समारोह को बतौर मुख्य अतिथि संबोधित करते हुए कहा कि इग्नू ज्ञान का मंदिर है और यह पिछले कई वर्षों

से भारत में शिक्षित समाज निर्माण में अहम भूमिका निभा रहा है। उन्होंने वर्तमान आधुनिक युग में डिस्टेंस लर्निंग और उसमें इग्नू की और अधिक सार्थक भूमिका का आह्वान किया। इस संदर्भ में उन्होंने कहा कि स्थापना दिवस समारोह मनाने के साथ-साथ हमें आत्म-विश्लेषण करने की भी आवश्यकता है। भारत की

पारंपरिक शिक्षा प्रणाली अध्यापक-विद्यार्थी आत्मीय संबंधों पर आधारित रही है। उस शिक्षा व्यवस्था में पौराणिक व्यक्तित्व उदाहरणों-व्याख्याओं के आधार पर गुरु गृहों में शिक्षा पर आधारित थी। आज की दूरस्थ शिक्षा प्रणाली स्व-अध्ययन वाली लचीली वैकल्पिक अध्ययन प्रणाली प्रदान करती है। 

इग्नू के कुलपति प्रो. नागेश्वर राव ने कहा कि प्रवेश से लेकर परीक्षा तक की इग्नू की सभी गतिविधियों में विद्यार्थियों को ही केंद्र में रखा जाता है। इस विद्यार्थी केंद्रित दृष्टिकोण ने सामाजिक पृष्ठभूमि और भौगोलिक सीमाओं को ध्यान में रखते हुए सभी को उच्च शिक्षा प्रदान करने में सहायता की है। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय गुणवत्ता को सुनिश्चित करने के लिए नैक प्रत्यायन प्राप्त करने की दिशा में सक्रिय है। 

इस अवसर पर विश्वविद्यालय के बाबा साहेब अंबेडकर सभागार के प्रांगण में प्रदर्शनी लगाई गई। समारोह में विश्वविद्यालय के संचार केंद्र द्वारा निर्मित गर्व, गरिमा और गौरव के 34 वर्ष शीर्षक फिल्म को भी दर्शाया गया। इस फिल्म में विश्वविद्यालय की स्थापना से लेकर शीर्षस्थ मुक्त शिक्षण संस्थान के रूप में इग्नू के विकास की यात्रा का दर्शाया गया।

इस अवसर पर वर्ष 2019 के लिए विद्यार्थी नवप्रवर्तन पुरस्कार विजेताओं को पुरस्कार वितरित किए गए। इस पुरस्कार को इग्नू के राष्ट्रीय दूरस्थ शिक्षा नवप्रवर्तन केंद्र (एनसीआईडीई) ने शुरू किया था। मुख्य अतिथि

ने वेब-समर्थित शैक्षिक सहायता ऐप का भी उद्घाटन किया। विश्वविद्यालय की अब तक की यात्रा को दर्शाने वाली पुस्तक का भी समारोह में विमोचन किया गया। इसे विश्वविद्यालय के क्षेत्रीय सेवा प्रभाग ने संकलित-संपादित किया है। 


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